भारत एक ऐसा देश है जहाँ हर एक राज्य की अलग कहानी है।
इसी भारत में एक ऐसा शहर है जिसे नीला शहर के नाम से जाना जाता है।
नीला शहर होने के पीछे भी एक दिलचस्प कहानी है।
दरअसल राजस्थान के जोधपुर को नीला शहर कहा जाता है।
जोधपुर के पुराने शहर में बने घरों को नीले रंग से रंगा गया है, इसलिए इसे नीला शहर कहा जाता है।
नीले रंग को शांति और शुभकामनाओं का प्रतीक माना
जाता है।
जोधपुर को 'सनसिटी' के नाम से भी जाना जाता है, क्योंकि यहां की जलवायु बहुत सुंदर होती है।
जोधपुर को नीला शहर कहने के पीछे एक धार्मिक कहानी भी प्रचलित है।
ऐसा माना जाता है कि भगवान शिव ने समुद्र मंथन के समय हलाहल (विष का प्याला) पी लिया था।
जिससे उनका कंठ नीला
पड़ गया था।
भगवान के प्रति भक्ति दर्शाते हुए यहां के लोग अपने घरों को नीले रंग से रंगते हैं।
यही वजह है कि जोधपुर को नीला शहर के नाम से पहचाना जाने लगा।
लेकिन आज के समय नीला शहर विलुप्त होने के कगार पर है।